प्रयागराज: बरेली में तैनात पीसीएस अधिकारी ज्योति मौर्य (Jyoti Maurya) के मामले में नया मोड़ आ गया है. एसडीएम ज्योति मौर्य (Jyoti Maurya) पर वित्तीय अनियमितता के गंभीर आरोप लगाने वाले उनके पति आलोक मौर्य ने यू-टर्न लेते हुए सोमवार को अपनी सभी शिकायतें वापस ले ली हैं। दोपहर में जांच कमेटी के सामने पेश हुए आलोक (Alok) महज 15 मिनट में ही कमरे से बाहर आ गये. बाहर आते ही आलोक ने मीडिया को बयान दिया कि उन्होंने अपनी शिकायत वापस ले ली है. वह इस मामले में आगे नहीं बढ़ना चाहते.
जांच समिति ने आलोक को अगस्त के पहले सप्ताह में बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया था. कमेटी के सामने सबसे पहले पेश हुए आलोक ने सबूत पेश करने के लिए 20 दिन का वक्त मांगा था. कमेटी ने उन्हें समय देते हुए 28 अगस्त को बुलाया था. माना जा रहा था कि सोमवार को आलोक अपने आरोप के समर्थन में कुछ सबूत देंगे, लेकिन आलोक ने आते ही सबको चौंका दिया. दोपहर करीब तीन बजे आलोक मंडलायुक्त कार्यालय में जांच कमेटी के सामने पेश हुए और अपनी सारी शिकायतें वापस लेने का पत्र दिया। करीब 15 मिनट बाद वह जांच कमेटी कक्ष से बाहर निकले और मीडिया को यही बयान दिया.
आलोक के शिकायत वापस लेने के बाद मामला खत्म होगा या नहीं, इस पर सरकार फैसला लेगी. जानकारों का कहना है कि आलोक के आरोप गंभीर हैं. उन्होंने ज्योति मौर्य पर प्रयागराज में महत्वपूर्ण पदों पर तैनाती के दौरान वित्तीय अनियमितता के गंभीर आरोप लगाए हैं. आलोक ने भले ही शिकायत वापस ले ली हो, लेकिन उनके दिए दस्तावेजों के आधार पर सरकार जांच आगे बढ़ा सकती है. ऐसे में अब शासन स्तर पर ही तय होगा कि शिकायत खत्म होगी या जांच आगे बढ़ेगी।